श्री गणेशाय नमः
श्री श्री 1008 चिंतामणि गणेश मंदिर प्रांगण में चल रही,गणेश पुराण मैं (म.प्र.) से पधारे आचार्य व्रजेन्द्र व्यास जी (काशी) द्वारा गणेश गीता का वर्णन किया गया, जिसमें राजा वरेण्य को भगवान विनायक ने सांख्य योग,कर्म योग, भक्ति योग, की व्याख्या करते हुए शुक्ला और कृष्णा गति का निरूपण किया कलयुग में भगवान गणेश की उपासना की आवश्यकता और उनके पूजन का स्वरूप वर्णन किया गया
तीन खंडों में जो काशी स्थापित है
ओंकार खंड, विश्वेश्वर खंड, केदारखंड ,
वाराणसी। श्री श्री चिंतामणि गणेश मंदिर केदारखंड में स्थित है माता पार्वती द्वारा प्रदत्त चिंतामणि को भगवान गणेश अपने हृदय पर धारण करते हैं। इसलिए उनका नाम चिंतामणि गणेश हुआ,
सिद्ध्यन्ति सर्व कार्याणि, मनसा चिंतितान्यपि। तेनख्याति गतो लोके, नाम्ना सिद्धिविनायक:।।
आगे व्यास जी ने बताया, गणेश जी को दूर्वा, बेलपत्र, शमी पत्र प्रिय है । परंतु तुलसी गणेश को वर्जित है
“न तुलस्यां गणाधिपम्” तथा तीन गणपति की प्रतिमा भी घर में नहीं होनी चाहिए।।
तथा 12 अंगुल से बड़ी मूर्ति भी नित्य पूजन स्थल (घर )में नहीं रखना चाहिए ।
भगवान गणेश के साथ पंच देव की उपासना,(गणेश,दुर्गा, शिव, विष्णु, सूर्य) मनुष्य के सभी मनोरथ को पूर्ण करती है ,
गणेश पुराण श्रवण की फलश्रुती बताते हुए कहा कि-
विद्यार्थी लभते विद्यां, धनार्थी रहते धनं, पुत्रार्थी लभते पुत्रां, मोक्षार्थी लगते गतिम्।। श्री श्री गणेश पुराण सभी कामनाओं को पूर्ण करने का एकमात्र साधन है ।
संतहृदय स्व.श्री चल्ला कृष्णा शास्त्री जी महाराज की पुण्य स्मृति में चल रही गणेशपुराण में उनके सुपुत्र,श्री चल्ला सुब्बाराव शास्त्री जी महाराज द्वारा भगवान गणेश का पूजन व पुराण का पूजन किया गया, तथा विशाल भव्य शोभायात्रा निकाली गई ,जिसमे”” मुख्यातिथि श्री राजीव कुमार सिंह जज साहब हाईकोर्ट प्रयागराज “” भगवान चिंतामणि गणेश की शोभायात्रा गणेश मंदिर से चलकर शिवाला ,भेलूपुर होते हुए,सोनारपुरा से पुन: मंदिर प्रांगण पर समाप्त हुई ।
अनंतर समस्त जनसमुदाय ने भगवान गणेश की महाआरती की उपरांत प्रसाद वितरण किया गया ,
कथा में पूज्य पाद शंकराचार्य ज्योतिष पीठाधीश्वर श्री अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती जी महाराज तथा उनके कृपा पात्र शिष्य मुकुन्दानन्द जी पधारें, उनका सभी भक्तजनो ने स्वागत व पादपूजन किया । कथा के उपलक्ष में 25 दिसंबर 2022 को विशाल भंडारे का आयोजन किया जाएगा ।
आयोजन व्यवस्थाओ में श्री चल्ला अन्नपूर्णा प्रसाद, श्री चंल्ला गणेश जी शास्त्री, श्री चल्ला जगन्नाथ जी प्रसाद, श्री चल्ला अभिराम जी शास्त्री, श्री चल्ला विश्वनाथ जी शास्त्री तथा अध्यापक पं. श्री गोकुल जी भंडारी, पं.श्री राहुल जी पांडेय, प्रधानाचार्य पं.श्री अमित कुमार पांडेय, उपस्थित थे कथा में संगीत की सुमधुर प्रस्तुति भजन गायक श्री गणेश जी पाठक, बिंदुमाधव वर्मा, तबले पर पं.अखिलेंद्र मिश्र, तथा आरगन् पर संदीप कुमार ने प्रस्तुति दी ।।
फोटो:वीडियो: अशोक पाण्डेय (उत्तम सवेरा न्यूज़, मीडिया प्रभारी, उत्तर प्रदेश)