वाराणसी। वक्फ सुधार जन जागरण अभियान को लेकर शनिवार को भारतीय जनता पार्टी के सिगरा स्थित महानगर कार्यालय में कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस आयोजन में वक्फ संशोधन बिल के मुख्य बिंदुओं को लेकर मुख्य अतिथि प्रदेश कोषाध्यक्ष मनीष कपूर ने प्रकाश डाला। मनीष कपूर ने कहाकि सन 1185 में पहली बार वक्फ पर का विचार आया। मुगल काल में उसका दायरा बढ़ा। वक्फ के पीछे उद्देश्य था आम गरीब मुसलमान का कल्याण, लेकिन कांग्रेस व विपक्ष के लोग अल्पसंख्यकों में भय पैदा करके उन्हें वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल करते आए।
अल्पसंख्यक शिक्षा व नौकरी में दलितों से भी पीछे हैं। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष व ओवैसी जैसे नेताओं ने वक्फ संपत्ति पर कब्जा किया है। इस संशोधन को लेकर विपक्ष के अंदर डर का माहौल है। वक्फ के खिलाफ मुसलमान वर्ग के 5000 मुकदमे वक्फ ट्रिब्यूनल में चल रहे हैं। वक्फ भारत के लिए सबसे बड़ा घोटाला बन चुका है, माल – होटल और व्यावसायिक इमारतें वक्फ जमीन पर फल फूल रहा है, लेकिन गरीब मुसलमान को अब भी कुछ नहीं मिल रहा है। धार्मिक नेताओं व राजनेताओं के एक बड़े गुट ने वक्फ संपत्तियों को लूट कर आम मुसलमान को बुनियादी सुविधाओं से वंचित किया। 31% मुसलमान आज भी गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन कर रहे हैं। लाखों करोड़ों की वक्फ पर संपत्तियों द्वारा उनके विकास के लिए कुछ नहीं किया गया। 2006 की सच्चर कमेटी की रिपोर्ट के अनुसार 80% वक्फ संपत्तियां भ्रष्टाचार और अतिक्रमण का शिकार हो चुकी हैं।
उन्होंने कहा कि वक्फ बोर्ड खुद मुस्लिम स्कूलों पर हमला कर रहे हैं, मुस्लिम परिवार अपनी पुश्तैनी जमीन को रहे हैं। बतौर उदाहरण चेन्नई में 100 साल पुरानी पारिवारिक संपत्तियों को अचानक वक्फ घोषित कर दिया गया। गरीब मुस्लिम छात्रों की छात्रवृत्ति लूटी गई। मस्जिदें खस्ताहाल वक्फ अधिकारी मालामाल है। मुस्लिम कल्याण फंड से करोड़ों की लूट हुई। लगभग 70% वक्त पर संपत्तियों पर अवैध कब्जा हो चुका है। 2018 की केंद्रीय वक्फ परिषद की रिपोर्ट के अनुसार वक्फ बोर्ड में कोई वित्तीय पारदर्शिता नहीं है। 2018 की केंद्रीय वक्फ परिषद रिपोर्ट के अनुसार भारत में 8 लाख एकड़ से अधिक वक्त संपत्ति है, जिसकी अनुमानित कीमत लगभग 10 लाख करोड़ से अधिक है।
यूपीए सरकार द्वारा वक्फ संशोधन अधिनियम 2013 के तहत वक्फ बोर्ड की शक्तियों को मनमाने ढंग से भूमि अधिग्रहण का अधिकार दे दिया गया। अधिनियम में पारदर्शिता की कमी और हितधारकों की चिंताओं को नजर अंदाज किया गया। कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार में वक्फ अधिनियम 1995 के तहत राज्य सरकारों पर संपत्ति सर्वेक्षण का वित्तीय बोझ डाला गया और वक्फ बोर्डों को असीमित अधिकार प्रदान किए गए, जिसके कारण लगातार वाद विवाद और अतिक्रमण हुए। यूपीए सरकार द्वारा पेश 2014 वक्फ संपत्ति विधेयक ने वक्फ बोडो और अतिक्रमणकारियों को असीमित शक्तियां प्रदान की।
उन्होंने कहा कि यदि इन सब विषयों पर सुधार नहीं होता तो गरीब मुसलमान का शोषण जारी रहता। इसी कारण वक्फ संशोधन अधिनियम 2025 बनाया गया ताकि वक्फ प्रशासन को सुव्यवस्थित किया जा सके। वर्तमान अधिनियम वक्फ प्रबंधन में पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ाने, मनमाने ढंग से संपत्ति अधिग्रहण को रोकने तथा धार्मिक स्वतंत्रता और समानता से संबंधित संवैधानिक चिंताओं को दूर करने के लिए बनाया गया है।
वक्फ संशोधन अधिनियम 2025 की विशेषताएं बताते हुए उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सबका साथ, सबका विकास, देश हित, अल्पसंख्यक हित के लिए लोकसभा व राज्यसभा में बिल पेश किया। भाजपा अल्पसंख्यकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर इस अधिनियम के जन जागरण का काम कर रही है। नए अधिनियम वक्फ बोर्डों की मनमानी शक्तियों को समाप्त करता है, यूपीए सरकार में लागू धारा 40 जिसके तहत वक्फ को असीमित ताकत व अधिकार प्राप्त था, उसे समाप्त कर दिया गया। जिन लोगों ने गलत तरीके से वक्फ की संपत्ति को कब्जा किया है, उनसे वापस ली जाएगी। वर्तमान अधिनियम सरकार को ऐसी सभी सरकारी संपत्तियों को पुनः प्राप्त करने का अधिकार देता है जिनमें मूल अधिनियम से पहले या बाद में वक्फ के रूप में दावा किया गया था। संशोधन देश भर में आदिवासी समूहों की संपत्ति और धार्मिक अधिकारों की सुरक्षा करता है। संरक्षित स्मारक वक्फ के दायरे से बाहर होंगे, कोई हिंदू वक्फ को दान नहीं कर सकता। अल्पसंख्यक वर्ग की गरीब लोगों के हित में है यह संशोधन। पसमांदा व बोहरा समाज के लोगों को संशोधन में शामिल किया और उनके लिए एक अलग वक्फ बोर्ड बनाने का प्रावधान किया गया। वक्फ ट्रिब्यूनल का पुनर्गठन किया गया, जिसमें अधिवक्ता, शिक्षक, चिकित्सक, बहुसंख्यक समाज के लोग भी शामिल होंगे। वक्फ ट्रिब्यूनल के गलत फैसले के खिलाफ अब अदालत भी जा सकेंगे।
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए महानगर अध्यक्ष प्रदीप अग्रहरि ने कहा कि ” प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का सपना है कि देश आगे बढ़े, अल्पसंख्यक समाज आगे बढ़े और इसीलिए वक्फ संशोधन बिल लाया गया। भाजपा सरकार समाज को बांटने वालों को कामयाब नहीं होने देगी। महाकुंभ में मुस्लिम समुदाय ने खुले दिल से श्रद्धालुओं की मदद की जो प्रयागराज की गंगा जमुनी तहजीब की पहचान है।”
कार्यक्रम संयोजक आत्मा विशेश्वर ने प्रस्तावना पढ़ी, संचालन जगदीश त्रिपाठी तथा धन्यवाद ज्ञापन शकील अहमद ने किया।
इस दौरान मुख्य रूप से महापौर अशोक कुमार तिवारी, वरिष्ठ भाजपा नेता प्रेम प्रकाश कपूर, नवीन कपूर, अशोक पटेल, नम्रता चौरसिया, चन्द्रशेखर उपाध्याय, अभिषेक मिश्रा, मधुकर चित्रांश, आलोक श्रीवास्तव, इंजीनियर अशोक यादव, साधना वेदांती, एडवोकेट अशोक जाटव, डॉक्टर गीता शास्त्री, महानगर मीडिया प्रभारी किशोर सेठ, संजय जायसवाल सहित सभी मंडल अध्यक्ष व मोर्चों के पदाधिकारी मौजूद रहे।